आंखों में हया उसकी
होंठों पर मुस्कान
याद दिलाती है उसकी
बेकरारी मेरी
सताती है
तडपाती है
कैसे करूँ इजहारे दिल
कैसे करूँ इकरारे प्यार
गुलाब दूँ
ख़त लिखूं
या मेरे खुदा
कोई और रास्ता बता दे॥
rastey2manzil.blogspot.com
meri batein aapko chubhengi Zaroor lekin chintan ke bad meethi lagengi............... jaisi MEETHI MIRCHI
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